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- Pt. Vijayshankar Mehta's Column Our Job Is To Try, God Will Give The Result
पं. विजयशंकर मेहता
एक बहुत प्यारी पंक्ति है, जिसे शिव जी ने बोला है। ‘होइहि सोइ जो राम रचि राखा। को करि तर्क बढ़ावै साखा’। ‘जो कुछ राम ने रचा है, वही होगा, तर्क करके कौन शाखा विस्तार बढ़ाए’। ये पंक्ति एक तरह का आश्वासन है कि जीवन में बहुत कुछ ऐसा है, जो होकर रहेगा।
अब इसका मतलब ये नहीं कि हम अकर्मण्य हो जाएं, दुर्भाग्य ही मान लें। इसका अर्थ है, अपने प्रयास करते रहिए, परिणाम के प्रति विचलित न हों। कब तक तकदीर से लड़ेंगे, लोग पनघट पर प्यासे खड़े हैं।
भरपूर मिठाई खरीद सकने वाले को डायबिटीज है। जिन्होंने मनौती मांग-मांग कर संतान प्राप्त की, वो अपने ही बच्चों से परेशान हैं। बहुत सारे लोग हैं, जिनकी योग्यता के अनुसार आय नहीं हो रही। शरीर को खूब स्वस्थ रखने वालों को भी कैंसर हो जाता है।
जब जीवन में इतना विपरीत हो तो अशांति आना ही है। और जब अशांति आ जाए तो बचने के जितने तरीके हैं, उसमें से एक सरल तरीका है। हमारा काम प्रयास करना है, परिणाम ऊपर वाला देगा। अपने कर्म में भरपूर ऊर्जा लगाएं पर उसके परिणाम देने में हस्तक्षेप न करें।